जमशेदपुर : बीते पांच वर्षों में जिस तरीके का बजट पेश होता आया है, यह वैसा ही बजट है। इसे बेहद सामान्य बजट कह सकते हैं। 450 रुपये में सिलेंडर देने का चुनावी वादा किया था। जिसका कोई जिक्र इसमें नहीं है। बजट का आकार कृत्रिम रुप से तो बढ़ा दिया गया है। लेकिन मुझे नहीं लगता कि साल भर में सरकार 75 से 80 प्रतिशत धनराशि भी खर्च कर पाएगी। 50 साल के ऊपर वाले जो लोग हैं, उनके पेंशन की स्थिति क्या है, वह सर्वज्ञात है। मईंया पर जोर है, पहले से जो पेंशन स्कीमें चल रही हैं, उनकी स्थिति को सुधारने के लिए कोई प्रयास नहीं दिखता। यह बजट विरोधाभासी लगता है।